सामूहिक हत्याकांड : प्रियंका गांधी को देख फफक पड़े परिजन, पकड़ लिए पैर, बोले-तीन वर्षों से हो रहे थे प्रताड़ित, पुलिस ने नहीं की सुनवाई।

मीडिया ग्रुप, 27 नवंबर, 2021

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने शुक्रवार को जब गोहरी गांव पहुंचकर सामूहिक नरसंहार केपीड़ित परिजनों से मुलाकात की तो वे उन्हें देख भावुक हो गए और पूरा परिवार प्रियंका गांधी के पांव पकड़कर रोने लगा और इंसाफ दिलाने की गुहार लगाने लगा। प्रियंका गांधी पीड़ित परिवार केसाथ तकरीबन 40 मिनट तक साथ रहीं और सांत्वना देती रहीं। परिजनों ने प्रियंका को बताया कि हत्यारे तीन साल से लगातार प्रताड़ित कर रहे थे।

मृतक के भाई और एसएसबी के जवान किशन और उनकी पत्नी राधा देवी, बहन पूजा, रेखा सहित अन्य परिजनों ने बताया कि हत्यारों की ओर से लगातार उनके भाई और भाई की पत्नी, दोनों बच्चों को लगातार प्रताड़ित किया जाता रहा। उन्होंने बताया कि जब भी उनके भाई या उनके परिवार के सदस्य थाने जाते तो स्थानीय पुलिस मदद करने के बजाय उल्टे उन्हें ही डराती और धमकाती थी। बाद में जब पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया तो उन पर समझौता करने का दबाव बनाती रही।

उन्होंने बताया कि आरोपियों का मृतक परिवार के मकान के पीछे भट्ठा है। उनके मकान के बगल से रास्ते की मांग को लेकर लगातार दबाव बना रहे थे। भाई किशन ने कांग्रेस महासचिव से सुरक्षा दिलाने की मांग की। कहा कि वे छत्तीसगढ़ में तैनात हैं, स्थानीय पुलिस उनकी मदद नहीं कर रही है। ऐसे में वह अपनी ड्यूटी देखें कि परिवार की सुरक्षा करें। इस पर प्रियंका ने उन्हें हर संभव मदद दिलाने का आश्वासन दिया।

बातचीत केदौरान मृतक परिवार के भाई-बहन केअलावा रिश्तेदार, गांव की अन्य महिलाएं और पुरुष, प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू, पूर्व विधायक अनुग्रह नारायण, कांग्रेस की महिला जिलाध्यक्ष अल्पना निषाद सहित कई कांग्रेसी नेता मौजूद रहे।

सामूहिक नरसंहार के पीड़ितों से बातचीत करने के बाद प्रियंका गांधी ने बताया कि उन्होंने छत्तीसगढ़ सरकार से बात कर ली है और एक-दो दिनों मेें पीड़ित परिवार को सुरक्षा मुहैया करा दी जाएगी। इसके साथ ही उनको कानूनी मदद भी मुहैया कराई जाएगी। इसके लिए विधि प्रकोष्ठ के साथियों से बात कर वरिष्ठ अधिवक्ता से मामले की पैरवी कराई जाएगी, ताकि हत्यारों को फांसी की सजा हो सके।

प्रियंका गांधी के गोहरी गांव पहुंचने पर बड़ी संख्या में आसपास केलोग एकत्र हो गए। हर कोई प्रियंका की बात सुनने को बेताब नजर आया। भीड़ अधिक होने से धक्कामुक्की होने लगी। इसका शिकार मीडिया कर्मी व पूर्व विधायक अनुग्रह नारायण सिंह भी हुए। भीड़ की वजह से सुरक्षा बल पूर्व विधायक को पीड़ित परिवार के घर के अंदर नहीं जाने दे रहे थे। बाद में पार्टी के दूसरे नेताओं को इसकी जानकारी हुई तो उन्हें भीतर बुला लिया गया। उसके बाद भी धक्का-मुक्की होती रही। सुरक्षा बलों ने किसी तरह से स्थिति संभाली।

प्रियंका गांधी के गोहरी गांव पहुंचने पर बड़ी संख्या में आसपास केलोग एकत्र हो गए। हर कोई प्रियंका की बात सुनने को बेताब नजर आया। भीड़ अधिक होने से धक्कामुक्की होने लगी। इसका शिकार मीडिया कर्मी व पूर्व विधायक अनुग्रह नारायण सिंह भी हुए। भीड़ की वजह से सुरक्षा बल पूर्व विधायक को पीड़ित परिवार के घर के अंदर नहीं जाने दे रहे थे। बाद में पार्टी के दूसरे नेताओं को इसकी जानकारी हुई तो उन्हें भीतर बुला लिया गया। उसके बाद भी धक्का-मुक्की होती रही। सुरक्षा बलों ने किसी तरह से स्थिति संभाली।

प्रियंका गांधी के आने की खबरें सोशल मीडिया पर बृहस्पतिवार की रात से ही तैरने लगी थीं। सुबह उनके आने का समय दोपहर एक बजे बताया गया। इस वजह से मौके भीड़ जुटनी शुरू हो गई थी। इसके अलावा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू समेत तमाम नेता भी उनका इंतजार एयरपोर्ट पर ही कर रहे थे। गोहरी गांव वह शाम सवा पांच बजे पहुंची।

इसके पहले वह शाम चार बजे लखनऊ से बमरौली एयरपोर्ट पहुंची। वहां से सीधे स्वराज भवन गईं। वहां, उन्होंने कुछ समय भी बिताया। स्वराज भवन के कर्मियों केसाथ बातचीत की और हाल जाना। इसके बाद वह सीधे गोहरी गांव गईं। उनके साथ प्रतिनिधिमंडल में सचिव संदीप सिंह, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू, राष्ट्रीय सचिव बाजी राव खाडे, पूर्व विधायक अनुग्रह नारायण सिंह, पूर्व विधायक विजय प्रकाश, भगवती चौधरी, राघवेंद्र सिंह, मकसूद खान, मुकुंद तिवारी, सुरेश यादव, हसीब अहमद, सुरेश पासी सहित बड़ी संख्या में कांग्रेसी भी पहुंचे। वह वहां 50 मिनट तक रहीं और उसके बाद सीधे बमरौली एयरपोर्ट से दिल्ली के लिए रवाना हो गईं।