मीडिया ग्रुप, 21 जुलाई, 2022
देश के युवाओं के दिलों में काफी समय से मोटिवेशनल स्पीकर सोनू शर्मा राज कर रहे हैं। व्यवसायिक तौर पर वो नेटवर्क मार्केटिंग करते हैं और देश के सबसे बड़े नेटवर्क मार्केटर हैं लेकिन उनके बोलने की कला और संघर्ष की कहानियों ने उन्हें आज पूरे देश भर के युवाओं और बच्चों का चहेता बना दिया है।
सफलता डॉट कॉम के साथ खास बाचतीज में सोनू शर्मा ने अपनी जिंदगी के कई अनुभव साझा किए। उन्होंने बताया कि आज की युवा पीढ़ी हमसे ज्यादा समझदार है और वो देश के निर्माण में बढ़-चढ़कर हिस्सा ले रही है।
सोनू शर्मा ने अपने शुरुआती दौर का जिक्र करते हुए कहा “हम लोगों को अपने जीवन में बैलेंस बनाना नहीं आता था। अगर हम खेलते थे तो पूरा दिन सिर्फ खेल रहे होते थे और जब काम करते थे तो पूरा दिन सिर्फ काम करते थे। लेकिन आज की युवा पीढ़ी में ये बदलाव नजर आ रहा है। अब युवाओं ने जीवन में बैलेंस बनाना सीख लिया है। टेक्नोलॉजी के आने के बाद से हमारी युवा पीढ़ी और मजबूत और संसाधन युक्त हो गई है। अब वो लोग काम और मनोरंजन दोनो एक साथ कर पा रहे हैं जबकि हमारे वक्त ऐसा नहीं था।”
उन्होंने टेक्नोलॉजी को आज के दौर के लिए एक वरदान बताया और कहा की “टेक्नोलॉजी के आने से अब सफलता के परिमाप बदल चुके हैं।” भारत की शिक्षा व्यव्स्था पर बात करते हुए उन्होंने कहा “भारत को अब अपनी शिक्षा प्रणाली में बदलाव लाने की सख्त जरूरत है। युवाओं को वो स्किल्स सिखानी जरूरी हैं जिससे उन्हें न सिर्फ नौकरी मिल सके बल्कि वो अपना खुद का बिजनेस भी शुरू कर सकें।”
उनका कहना था कि बच्चो को जो शिक्षा स्कूल में दी जा रही है वो बाहरी जीवन में काम नहीं आती और जो बाहरी दुनिया में काम आती है वो स्कूल में सिखाई नही जाती।
सोनू शर्मा ने युवाओं को करियर के बारे में सलाह देते हुए कहा कि हर युवा को उसके पसंद के क्षेत्र में कम उम्र से ही काम करना शुरू कर देना चाहिए।
उन्होंने कहा “मैने लगभग 17 साल की उम्र से ही काम करना शुरू कर दिया था और अभी तक के अनुभव से यही सीखा है की किसी भी काम में तरक्की करने के लिए आपको 5 से 7 साल लगाने पड़ते हैं। ऐसे में बेहतर यही है की आप जितनी जल्दी हो सके शुरुआत करें।
अगर आप 16 या 17 साल की उम्र से शुरुआत करते हैं तो जब तक आप 24 से 25 साल के होंगे तब तक आप अपने जीवन में एक अच्छे मुकाम पर पहुंच चुके होंगें।”
उन्होंने युवाओं को काम के साथ साथ पढ़ाई करने की सलाह दी। उनका कहना था की पढ़ाई और सीखना तो एक ऐसी प्रक्रिया है जो जीवन भर चलती है और इसे आप काम के साथ साथ कर सकते हैं।