हल्द्वानी में बवाल के बाद शहर में लगा कर्फ्यू, इंटरनेट सेवा बंद, छह लोगों की मौत, 300 से ज्यादा घायल

हल्द्वानी। गुरुवार शाम को हल्द्वानी के बनभूलपुरा में अतिक्रमण हटाने को लेकर बवाल हो गया। जिसके बाद प्रशासन ने देर शाम उपद्रवियों के पैर में गोली मारने के आदेश जारी किए। एक को गोली लगने की सूचना है। प्रशासन ने शहर में कर्फ्यू लगा दिया है। यहां पढ़ें पल-पल का अपडेट…

उठ रहा सवाल… कार्रवाई से पहले सर्वे क्यों नहीं 

मलिक का बगीचा में बने अवैध मदरसे और धर्म स्थल को तोड़ने के लिए नगर निगम, प्रशासन और पुलिस की टीम क्षेत्र में बिना हवाई सर्वे के ही घुस गई। बीते चार फरवरी के विरोध के बावजूद पुलिस, प्रशासन और नगर निगम की टीम ने मामले को हल्के में ले लिया। कई मौकों पर ड्रोन से निगरानी करने वाले पुलिस प्रशासन कार्रवाई से पहले हवाई सर्वे तक नहीं करा पाया।

संवेदनशील जगहों पर बढ़ाई गश्त 

बवाल के बाद पुलिस को अलर्ट पर रखा गया है। जिले में मिश्रित आबादी वाले थाना क्षेत्रों में संवेदनशील जगहों पर गश्त बढ़ा दी गई है। साथ ही दो कंपनी, दो प्लाटून पीएसी को हल्द्वानी भेजा गया है। ध्वस्तीकरण वाले नोटिस पर रोक पर सुनवाई 14 को मलिक का बगीचा और अच्छन का बगीचा क्षेत्र में अतिक्रमण के ध्वस्तीकरण वाले नोटिस पर रोक लगाने संबंधी याचिका पर हाईकोर्ट में सुनवाई 14 फरवरी को होगी। न्यायमूर्ति पंकज पुरोहित ने मामले की सुनवाई की।

दूसरे जिलों से आई पुलिस को नहीं था हालात का अंदाजा

बनभूलपुरा की तंग गलियों में उपद्रवियों को खदेड़ने के लिए अंदर घुस रही पुलिस फोर्स उनके ही जाल में फंसती नजर आई। घरों की छतों से पुलिसकर्मियों पर लगातार पथराव होता रहा। बमुश्किल गलियों से बचते-बचाते पुलिसकर्मी किसी तरह मुख्य सड़क पर आ सके।

जानकारों की मानें तो बनभूलपुरा में भेजी गई पुलिस फोर्स दूसरे जिलों या अन्य थानों से आई थी जिन्हें इस इलाके का अंदाजा तक नहीं था। अधिकारियों के आदेश का पालन पूरा करने के लिए फोर्स अंदर तो घुस गई, लेकिन वह चक्रव्यूह में फंस गई, जिस कारण जान भी सांसत में आ गई।

350 राउंड से अधिक हुई फायरिंग

मलिक के बगीचे के चारों ओर से पथराव में फंसने के बाद किसी तरह पुलिस फोर्स यहां से निकलकर मुख्य सड़क पर पहुंच सकी। मगर यहां भी बनभूलपुरा थाने को आग के हवाले कर दिया गया था। उपद्रवियों को खदेड़ने के लिए पुलिस टीम ने 350 राउंड से अधिक बार फायरिंग की। इसके बाद लोग मौके से इधर उधर होने लगे।

घर के दरवाजे तोड़कर बाहर निकाले पत्थरबाज

बनभूलपुरा में अतिक्रमण तोड़ने गई टीम पर घरों की छतों से पथराव किया गया जिसके बाद पुलिस ने पत्थरबाजों को पकड़ने के लिए उन घरों का रुख किया जहां से पत्थर फेंके जा रहे थे। नगर निगम कर्मचारियों की मदद से उन घरों के दरवाजों को घन से तोड़ा गया और पुलिसकर्मी घरों में घुसे। जिसके बाद पत्थरबाजों को पकड़कर पुलिस ले जाने लगी, लेकिन उपद्रवी उन्हें भी छुड़ा ले गए।

अन्य जगहों से मंगाई गई फोर्स 

हमारी तैयारी पूरी थी, चूक कहां हुई इसका पता किया जा रहा है। बाहर से अन्य फोर्स हल्द्वानी मंगाया गया है। इसे बनभूलपुरा क्षेत्र के विभिन्न तिराहों, चौराहों और गलियों में लगाया गया है। कर्फ्यू लगा दिया गया है। फोेर्स को गोली मारने के आदेश दिए गए हैं।

– प्रहलाद नारायण मीणा, एसएसपी

यह सब सुनियोजित था, हमारी तैयारी पूरी थी- डीएम

जिलाधिकारी वंदना का कहना है हमारी तैयारी पूरी थी, कोई कमी नहीं थी पर जिस तरह से टीम पर हमला हुआ है उससे लगता है कि यह सुनियोजित और योजनाबद्ध हमला किया गया है, जिसकी तैयारी पहले से थी। पेट्रोल बम, पथराव करने से लेकर गोली चलाई गई। इसकी उम्मीद नहीं थी। लगता है कि ऐसी किसी एक्शन पर रिएक्शन कैसे किया जाएगा, उसकी तैयारी पहले से कर ली गई थी।

जब शार्ट नोटिस पर पर ऐसी घटना हुई और प्लानिंग थी, अगर अधिक समय दिया जाता तो संभव है कि हालात ज्यादा खराब होते, उसका अंदाजा लगाना संभव नहीं है। यह रणनीति का हिस्सा था कि तैयारी के लिए कम से कम समय दिया जाए, क्योंकि उग्र प्रतिक्रिया की आशंका थी, इसलिए शार्ट नोटिस दिया गया। इससे नुकसान को रोका जा सका। उनकी जानकारी के हिसाब से वर्तमान में केवल बनभूलपूरा क्षेत्र प्रभावित होने की बात है।

70 से अधिक वाहनों को लगायी आग, कई में तोड़फोड़

बनभूलपुरा में उपद्रव के दौरान 70 से अधिक वाहनों को जला दिया गया, जबकि कई वाहनों में तोड़फोड़ की गई। इस दौरान बनभूलपुरा थाने में आग से कई साल पुराने रिकॉर्ड भी जलकर खाक हो गए हैं।

आजादी के बाद से अब तक नहीं हुई ऐसी घटना- सुमित हृदयेश 

विधायक हल्द्वानी सुमित हृदयेश ने कहा कि आजादी से लेकर आजतक हल्द्वानी में कभी भी इस प्रकार की घटना नहीं हुई है। यहां हमेशा अमन, चैन और एकता का माहौल रहा है। हाईकोर्ट ने इस प्रकरण की सुनवाई की तारीख 14 फरवरी को दी थी, फिर भी शासन-प्रशासन ने जल्दबाजी कर इस कृत्य को अंजाम दिया।

मेरी मुख्यमंत्री से फोन पर वार्ता हुई है। उन्हें पूरे प्रकरण से अवगत करा दिया गया है, जितने भी प्रशासनिक अधिकारी, पुलिसकर्मी और स्थानीय नागरिक इस कृत्य में घायल और हताहत हुए हैं, मेरी संवेदना उनके परिवारजनों के साथ है। मेरी सभी शहरवासियों से अपील है कि किसी भी प्रकार की अफवाहों पर गौर न करें और शांति व्यवस्था बनाने में अपना पूर्ण योगदान दें।

हिंसा में अब तक पिता-पुत्र समेत छह लोगों की मौत

हल्द्वानी में हिंसा के बाद सैकड़ों लोग घायल हुए। पुलिस ने लोगों ने अस्पताल में भर्ती कराया। वहीं, अब तक की जानकारी के मुताबिक, हिंसा में पिता-पुत्र समेत छह लोगों की मौत हो गई है।

छह की मौत, 300 से ज्यादा घायल

अब तक मिली जानकारी के अनुसार, हल्द्वानी में हिंसा के दौरान छह लोगों की मौत हो गई है। वहीं, पुलिसकर्मी और निगम कर्मी समेत 300 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं।

पढ़ें हल्द्वानी में किस समय क्या हुआ

  • 3:00 बजे अतिक्रमण हटाने के लिए बनभूलपुरा थाने के पास टीमें जुटने लगी।
  • 4: 23 बजे टीम पुलिस फोर्स के साथ रवाना हुई।
  • 4: 30 बजे टीम मलिक के बगीचे में पहुंची।
  • 4: 40 बजे लोग अतिक्रमण स्थल पर जुटने लगे।
  • 4: 42 पर लोगों ने विरोध शुरू किया।
  • 4: 44 पर लोगों ने पुलिस द्वारा लगाई बैरिकेटिंग हटाना शुरू कर दिया।
  • 4: 51 पर अराजक तत्त्वों ने जेसीबी रोकी।
  • 4: 55 पर हंगामा शुरू हुआ और पत्थर बाजी हुई।
  • 5: 17 बजे अतिक्रमण तोड़न की कार्रवाई शरू की।
  • 5: 20 पर लोगों ने जेसीबी तोड़ी।
  • 5: 24 पर पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर आसू गैस के गोले दागे।
  • 5: 35 पर उपद्रवियों ने वाहनों में आग लगाई।
  • 5: 54 पर पुलिसकर्मी घायल हुए।
  • 6: 30 बजे उपद्रवियों ने थाना फूंका।
  • 7:00 बजे घायल पुलिसकर्मियों को अस्पताल भेजा।
  • 7:30 पर सीएम ने बैठकर कर उपद्रवियों को गोली मारने के आदेश दिए।
  • 7:48 पर शहर में कर्फ्यू का आदेश जारी हुआ।
  • 7:55 पर उधमसिंह नगर से और फोर्स हल्द्वानी पहुंची।